क्विनोआ को शामिल करें भोजन में
उत्कृष्ट पौष्टिक अनाज क्विनोआ gluten free होता है। इसमें लाभकारी 9 essential amino acids, भरपूर फाइबर और विटामिन्स पाए जाते हैं। क्विनोआ को भोजन में जरूर शामिल करें।
Quinoa एक गैर भारतीय अनाज है जो सामान्यतः भारत में नहीं पाया जाता।
इसका उपयोग चिली और पेरू में मुख्य रूप से दलिया और केक बनाने में किया जाता है। इसे स्यूडोग्रेन में शामिल किया गया है।
ये हेल्थ के लिए काफी फायदेमंद है।
वैसे ये भी दूसरे अनाजों की तरह एक साधारण अनाज है परन्तु ये gluten free है।
इसमें 9 essential amino acids पाए जाते हैं जो शरीर के लिए अतिआवश्यक होते हैं।
ये भी प्रोटीन का एक अच्छा स्त्रोत है।
इसमें Potassium, Magnesium, Manganese, calcium भी अच्छी मात्रा में पाए जाते हैं।
आपको ये भी बता दें कि ये है तो एक अनाज और लाल, सफ़ेद और काले रंग में पाया जाता है।
Quinoa का वैज्ञानिक नाम चिनोपोडियम क्विनोआ है। ये amaranth फैमिली में आता है। भारत में किनवा नाम से भी जाना जाता है।
आजकल लोग हेल्थ के प्रति जागरूक हो रहे हैं इसलिए अपने औषधिय गुणों के कारण ये इन दिनों काफी चर्चा में है।
इसकी खेती भारत कई जगह होती है।
इसमें मुख्य रूप से लाइसिन पाया जाता है जो शरीर संपूर्ण विकास में काफी उपयोगी होता है।
क्विनोआ का इतिहास
क्विनोआ को पहली बार कई सहस्राब्दी पहले दक्षिण अमेरिका के एंडियन क्षेत्र में पेश किया गया था।
पौष्टिकता
- क्विनोआ एक पौष्टिक भोजन है क्योंकि यह उच्च गुणवत्ता वाले कार्बोहाइड्रेट का एक बड़ा स्त्रोत है।
- इसमें फाइबर, विटामिन बी 6 और ई के साथ-साथ फोलिक एसिड, मैग्नीशियम, लौह और फोलिक एसिड भी भरपूर होते हैं।
- अन्य स्यूडोग्रेन की तरह, इसमें अन्य अनाज की तुलना में थोड़ा अधिक प्रोटीन होता है।
कैसे पकाएँ
- खाना पकाने से पहले क्विनोआ को हमेशा गर्म या सामान्य तापक्रम वाले पानी से अच्छी तरह से साफ करना चाहिए।
- अगर हम ऐसा नहीं करते हैं, तो बाद में क्विनोआ का स्वाद थोड़ा कड़वा भी हो सकता है।
- धोने के बाद इस 15 मिनट के लिए भिगा कर रखें।
- एक कप क्विनोआ में 2 कप पानी डाल कर पहले उबालें फिर इसे ढक कर धीमी आँच पर पकने दें।
- बीच-बीच में चम्मच से चलाते रहें। 10 से 15 मिनट के बीच यह पक जाएगा और इसका पानी सूख जाएगा।
- आंच बंद कर दें और इसे ढक कर 5 मिनट तक सेट होने दें।
- इस पके क्विनोआ को आप पोहा, फ्राइड राइस की तरह बना कर खा सकते हैं।
- इसे सलाद पर डाल कर भी खा सकते हैं।
- क्विनोआ को जैतून के तेल, काली मिर्च और नींबू रस व मसाला छिड़क कर खा सकते हैं।
- इसमें रंग-बिरंग सलाद की सब्जियां, अजमोद, फेटा चीज़, जैतून तेल, भूनी मूंगफली या कद्दू के बीज की गिरी, तिल, अलसी भी डाल सकते हैं।
- क्विनोआ को पानी में उबालने की बजाय सूप बेस में पकाएं।
- आप इसे मौसमी सब्जियों और फलियों के साथ मिला सकते हैं।
क्विनोआ के विभिन्न प्रकार – Types of Quinoa
- क्विनोआ लगभग 120 प्रकार के होते हैं।
- सबका प्रभाव लगभग सामान ही है।
- मुख्य रूप से 3 प्रकार के क्विनोआ होते हैं – सफ़ेद, लाल और काला।
सफ़ेद क्विनोआ
नाम से ही स्पस्ट है कि सफ़ेद क्विनोआ दिखने में सफ़ेद होता है जो आसानी से पकाया जा सकता है।
लाल क्विनोआ
ये दिखने में लाल कलर का होता है।
ये पकाने के बाद भी ऐसा ही दिखता है, जैसा पकाने से पहले दिखता है।
काला क्विनोआ
यह काले रंग का होता है।
जो भारतीय recipe में बहुत काम में लिया जाता है, लेकिन इसे पकाने में समय लगता है।
क्विनोवा के फायदे – Benefits of Quinoa
- इस एक पूर्ण और पौष्टिक खाद्य पदार्थ है।
- इसमें भरपूर मात्रा में फाइबर, प्रोटीन, आयरन तथा मानव शारीर के लिए फायदेमंद एंटीएजिंग एंटीसेप्टिक और एंटीकैंसर तत्व पाए जाते हैं।
- यह एक ऐसा भोजन है जिसे बच्चे पसंद कर सकते हैं।
- बच्चों के विकास में यह काफी लाभप्रद भूमिका निभाता है।
- क्विनोआ से मीठे या नमकीन व्यंजन तैयार किए जाते हैं।
- इसमें मौजूद तत्व आस्टियोपोरोसिस (जो हड्डियों का एक प्रकार का रोग है) में लाभ पहुँचाते हैं।
- यह गठिया रोग, हृदय रोग, भ्रूण विकास तथा दुर्बल मांसपेसियों को मजबूती देने का काम भी करता है।
- कुछ एक बीमारियों में यह सीधा प्रभाव करता है कुछ एक बीमारियों में सप्लिमेंट्री के हिसाब से काम करता है।
- इनमें से कुछ मुख्य निम्न हैं –
एंटीसेप्टिक गुण (antiseptic )
- इसमें एंटीसेप्टिक गुण पाया जाता है।
- बढ़ती उम्र में जैसे-जैसे रोगों के प्रति इंसान की क्षमता कम होती जाती है, वैसे-वैसे नए रोगों का शरीर पर अटैक होने लगता है।
- इसलिए उम्र दराज लोगों के लिए क्विनोआ का सेवन करना अच्छा माना जाता है।
- ये शरीर की anti septic क्षमता को बढ़ाता है जिससे सामान्य रोग कम होते हैं।
ब्लड शुगर (blood sugar)
- आज भारत में मधुमेह की बीमारी बहुतायत से फ़ैल रही है।
- आप इससे ग्रसित हों तो कुछ घरेलू उपचार और खान-पान को नियंत्रित करके इससे काफी हद तक बच सकते हैं।
- इसके लिए आप क्विनोआ को उपयोग में ले सकते हैं।
- क्विनोआ पाया जाने वाला ग्लाइसेमिक इंडेक्स शुगर लेवल को कम करने या नियंत्रित करने में काफी हद तक मदद करता है।
मोटापा (obesity)
- हम सब जानते है ज्यादातर मोटापा या obesity खराब खान-पान और परिश्रम की कमी का कारण होता है।
- यही मोटापा आगे चलकर मधुमेह रोग का कारण बनता है तथा साथ में हृदय रोगों को न्योता देता है।
- क्विनोआ में अच्छी मात्रा में फाइबर होता है जो मोटापे और शुगर दोनों प्रकार के मरीजों के लिये फायदेमंद होता है।
विटामिन और प्रोटीन का स्त्रोत (vitamins and proteans)
- विटामिन हमारे शरीर को रोगों से लड़ने की ताकत देता है और शरीर को स्वस्थ बनाए रखने में काफी हद तक बड़ा रोल निभाता है।
- इसी तरह शरीर को ताकत देने के लिए प्रोटीन भी बहुत जरुरी है।
- प्रोटीन शरीर के निर्माण और मांसपेसियों को मजबूत बनाए रखने के लिए महत्वपूर्ण है।
- क्विनोआ में प्रोटीन और विटामिन अच्छी मात्रा में पाए जाते हैं।
- इसमें पाए जाने वाला विटामिन बी12 ब्लड और स्किन टिश्यू के लिए बहुत जरुरी है।
- अगर आप क्विनोआ का सेवन करते हैं तो ये काफी हद तक प्रोटीन और विटामिन्स की पूर्ति करता है।
एनीमिया (Anemea)
- मानव शरीर खून की कमी, जो hemoglobinके रूप में काउंट होती है, से एनीमिया या खून की कमी वाला रोग होता है।
- ये सामान्यतया महिलाओं में अधिक होता है, क्योंकि मासिक धर्म के कारण उनका हर महीने कुछ मात्रा में रक्त निकल जाता है।
- इसमें पाया जाने वाला vitamin 12 रक्त को बनाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है।
पाचन (Digestive system)
- पाचन क्रिया को सुचारू बनाये रखने के लिए शरीर को पर्याप्त मात्रा में फाइबर्स की आवश्यकता होती है।
- क्विनोआ में फाइबर की प्रचुर मात्रा होती है, जो खाने को पचाने में लाभदायक होती है।
- जिससे आपको गैस, पेट में ब्लॉटिंग आदि समस्यायों से निजात मिलती है।
कम कैलोरी
- क्विनोआ में केलोरी की मात्रा बहुत ही कम होती है, या कहे तो इसमें फैट लेवल बहुत कम होता है।
- लो केलोरी की खुराक चाहिए तो इसका सेवन करें।
- इससे मोटापा कम करने में बहुत आसानी होती है।
दिल के मरीजों में
- दिल के मरीज के लिए क्विनोआ का सेवन काफी लाभदायक होता है।
- इसमें ओमेगा 3 और ओमेगा 6 फैटी एसिड तथा बहुत उपयोगी एंटीऑक्सिडेंट्स भी पाए जाते हैं, जो दिल के मरीजो के लिए काफी लाभदायक होते हैं।
मधुमेह
- यह ग्लूकोज स्तर और लिपिड प्रोफाइल दोनों पर कार्य करके मधुमेह में काफी उपयोगी साबित होता है।
- इसके लिए आप अपने डॉक्टर से मशविरा भी कर सकते हैं।
प्रोटीन
- इसमें पाया जाने वाला लाइसिन नामक प्रोटीन शरीर के विकास के लिए बेहद महत्वपूर्ण होता है।
- प्रोटीन का उच्च अनुपात होने के बावजूद यह एक मध्यम कैलोरी खाद्य पदार्थ है।
- यह अनुमान लगाया गया है कि 100 ग्राम क्विनोआ में केवल 6 ग्राम वसा होती है।
- इसका लाभ उठाने के लिए इसे कम कैलोरी वाले खाद्य पदार्थों, जैसे- सब्जियों, सलाद या यहां तक कि ताजे फलों के साथ खाना चाहिए।
कुल प्रोटीन का बेहतर स्त्रोत
- यह क्विनोआ की सबसे उल्लेखनीय विशेषताओं में से एक है।
- सभी अनाजों की तुलना में इसमें सर्व-समावेशी भरपूर प्रोटीन होता है।
- इसके सेवन से शरीर को जरूरी मैक्रोन्यूट्रिएंट्स की पूर्ति होती है।
- यह एथलीटों और शाकाहारियों के लिए आदर्श आहार है।
ट्राइग्लिसराइड्स
- क्विनोआ का दूध या साबुत अनाज ओमेगा-3 के लिए एक उत्कृष्ट खाद्य स्त्रोत है।
- यह ट्राइग्लिसराइड के साथ-साथ कोलेस्ट्रॉल के स्तर को भी संतुलित रखता है।
- क्विनोआ डेयरी उन लोगों के लिए एक बढ़िया विकल्प है जिन्हें लैक्टोज से एलर्जी होती है। या जो जानवरों से प्राप्त डेयरी उत्पादों का सेवन नहीं करना चाहते।
त्वचा
- इस सुपरफूड के सेवन से त्वचा कोमल, स्वस्थ और अधिक हाइड्रेटेड रहती है।
- यह गुण इसमें मौजूद प्राथमिक अमीनो एसिड में से एक लाइसिन, कोलेजन और इलास्टिन इसे देते हैं।
- इसके अलावा यह एक उत्कृष्ट एंटीऑक्सीडेंट क्षमतायुक्त खाद्य पदार्थ भी है।
- जो समय से पहले बूढ़ा होने के संकेतों से लड़ने में मदद कर सकता है।
हड्डियों को मज़बूत बनाता
- क्विनोआ में पोटैशियम, आयरन, कैल्शियम, मैग्नीशियम और फॉस्फोरस होने से वयस्क और बच्चे समान रूप से लाभ उठा सकते हैं।
- यह हड्डियों, दांतों के साथ-साथ मांसपेशियों के स्वास्थ्य में सुधार करता है।